उद्योग प्रतिक्रिया - बजट 2020-21
चिन्टेल्स इंडिया के प्रबंध निदेशक और क्रेडाई एनसीआर के कोषाध्यक्ष श्री प्रशांत सोलोमन का इस बजट के बारे में का कहना है, "व्यक्तिगत आयकर में कमी किए जाने के साथ मध्यम वर्ग और युवाओं के पास खर्च करने योग्य अधिक आय होगी जिससे खर्च बढ़ेगा और अर्थव्यवस्था में वृद्धि आएगीइसका रिहाइशी मकानों की खरीद पर भी सकारात्मक असर पड़ेगा। माननीय वित्त मंत्री द्वारा टैक्स हॉलीडे और एक साल के लिए बढ़ाए जाने का प्रस्ताव करने से किफायती आवास खंड को भी बढ़ावा मिलेगा। हालांकि, आवास ऋण पर ब्याज दरों में कोई कमी नहीं किए जाने, सस्ते मकानों से परे अन्य खंडों के लिए कोई प्रोत्साहन नहीं देने, सिंगल विंडो क्लियरेंस पर कोई घोषणा नहीं किए जाने और इस क्षेत्र को उद्योग का दर्जा नहीं दिए जाने के मद्देनजर इस बजट में रीयल एस्टेट क्षेत्र की अपेक्षा के मुताबिक कुछ खास नहीं है।”
बारको इंडिया के प्रबंध निदेशक राजीव भल्ला का कहना है, “वर्ष 2020 का बजट प्रतिभा, प्रौद्योगिकी, उद्यमशीलता और टिकाऊपन की मुख्य बातों को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है और हम अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहन देने के केन्द्र के प्रयासों की सराहना करते हैं। प्रतिष्ठित स्थलों को तेजस जैसी कॉरपोरेट ट्रेनों से जोड़ा जाएगा और पांच पुरातत्व स्थलों को प्रतिष्ठित स्थलों में तब्दील करने की योजना है, यह घोषणा करके माननीय वित्त मंत्री ने पर्यटन पर ध्यान केंद्रित रखा है। पांच नए स्मार्ट शहरों का भी प्रस्ताव किया गया है और बारको इस दिशा में सरकार के साथ साझीदारी की उम्मीद करती है।”
निप्पॉन पेंट इंडिया के अध्यक्ष (ऑटोमोटिव रिफिनिशेस एंड वुड कोटिंग्स) श्री शरद मल्होत्रा का इस बजट पर कहना है, "हमें आम बजट 2020 एक उचित बजट लगता है जिसमें मजबूत उपाय और अच्छे इरादे हैं। मध्यम वर्ग के लिए कर रियायत से आम आदमी के लिए जिंदगी आसान होगी और उपभोक्ता के हाथ में खर्च के लिए अधिक पैसा होगाहालांकि वाहनों के लिए जीएसटी दर में कोई कमी नहीं किया जाना हमारे लिए निरूत्साहित करने वाली बात है।"
क्लिकब्रिक्स के संस्थापक और सीईओ रोहित मलिक का इस बजट के बारे में कहना है, "इस बजट ने स्टार्ट-अप्स को अर्थव्यवस्था के ग्रोथ इंजन के तौर पर स्वीकार किया है और हमारे लाभों की 100 प्रतिशत कटौती, कारोबार की सीमा और पात्रता की अवधि बढ़ाकर इस क्षेत्र के लिए कर लाभों का प्रस्ताव किया हैव्यक्तिगत आयकर में कमी से खर्च की ताकत बढ़ेगी और अर्थव्यवस्था एवं रीयल एस्टेट खंड में तेजी आएगीइस बजट में माननीय वित्त मंत्री ने टैक्स हॉलीडे और एक वर्ष के लिए बढ़ाकर किफायती आवास खंड पर भी ध्यान केंद्रित किया है।"
अखंड ज्योति आई हॉस्पिटल के कार्यकारी निदेशक एवं विकास प्रमुख (भारत एवं दक्षिण एशिया) फरहान पेटीवाला ने इस बजट के बारे में कहा, “इस आम बजट 2020 में हम प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना-आयुष्मान भारत स्कीम में 6.000 करोड रूपये आबंटन के साथ स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए आबंटन बढ़ाकर 69,000 करोड़ रूपये किए जाने का स्वागत करते हैं। इसमें 112 आकांक्षी जिलों (देशभर में) अस्पतालों की स्थापना के लिए वायबिलिटी गैप फंडिंग पर खास जोर दिया गया है। साथ ही मौजूदा जिला अस्पतालों को पीपीपी माध्यम से मेडिकल कॉलेजों में तब्दील करने की घोषणा भी स्वागत योग्य कदम है क्योंकि कमजोर जिलों में डॉक्टरों की भारी कमी है।”
शारदा हॉस्पिटल के चिकित्सा अधीक्षक डॉक्टर आशुतोष निरंजन का इस बजट के बारे में कहना है, "इस बजट में हेल्थकेयर उद्योग में नई ऊर्जा का संचार करने के लिए बड़े कदम उठाने पर ध्यान दिया गया है और 69,000 करोड़ रूपये का आबंटन, अच्छी गुणवत्ता की स्वास्थ्य सुविधाओं को अपनाने के लिहाज से भारत को एक बेहतर स्थान बनाने में निश्चित तौर पर योगदान करेगा। इसके अलावा, टियर-2 एवं टियर-3 शहरों में अस्पताल खुलने और इन शहरों में स्वास्थ्य संबंधी ढांचागत सुविधाओं के लिए मेडिकल उपकरणों पर कर का पैसा लगने एवं टीबी जैसी बुराइयों के उन्मूलन के लिए लक्षित अभियान स्वागत योग्य कदम हैं। हमें साथ मिलकर एक स्वस्थ और मजबूत भारत का निर्माण होने की उम्मीद है।”
वर्ल्ड युनिवर्सिटी ऑफ डिज़ाइन के कुलपति डॉक्टर संजय गुप्ता का इस बजट के बारे में कहना है, "इस बजट से सही मायने में शिक्षा के लिए अगला वैश्विक केंद्र बनने पर देश का ध्यान केंद्रित होते दिखता है। कौशल विकास के लिए सतत बजट आबंटन के अलावा शिक्षा के क्षेत्र को एफडीआई के लिए खोलना, ‘स्टडी इन इंडिया' कार्यक्रम की शुरूआत, नए प्रशिक्षु कार्यक्रम और ऑनलाइन डिग्री पाठ्यक्रम जैसी महत्वपूर्ण घोषणाएं हमारे देश के युवाओं के लिए इस सरकार की प्रतिबद्धता दोहराती हैं। मुझे विश्वास है कि एक नए डिजिटल भारत के निर्माण में ये रणनीतिक पहल एक निर्णायक भूमिका अदा करेंगी।"
शारदा युनिवर्सिटी के चांसलर श्री पी.के. गुप्ता का इस बजट के बारे में कहना है, "एफडीआई जैसी अनेक पहल, कौशल विकास और उद्यमशीलता पर सतत जोर, नए ऑनलाइन डिग्री पाठ्यक्रम प्रशिक्षु कार्यक्रमों की य शिक्षा के लिए 99,300 करोड़ रूपये के आबंटन के साथ बजट 2020 से भारत को एक वैश्विक शैक्षणिक केंद्र के तौर पर स्थापित करने में मदद मिलेगीहम ‘स्टडी इन इंडिया' प्रोग्राम शुरू किए जाने की सराहना करते हैं जिससे विदेशी विद्यार्थी भारत में अध्ययन करने के लिए छात्रवृत्ति हेतु आवेदन करने में समर्थ होंगे। कुल मिलाकर हमारा मानना है कि गुणवत्तापरक शिक्षा उपलब्ध कराने और हमारे युवाओं का कौशल बढ़ाने पर नए सिरे से जोर बढ़ने से भारत को भविष्य में वैश्विक अर्थव्यवस्था को आकार देने में एक अग्रणी भूमिका निभाने में मदद मिलेगी।"